नई कार खरीदने के बाद आगे क्या ?

आप एक नई कार लाए हैं, बढ़िया, लेकिन आगे क्या ?आइए जानते हैं; नई कार खरीदने के बाद हमें क्या करना चाहिए?

New Car Dealer

कार के मैनुअल से खुद को परिचित करें

कार मैन्युअल बहोत महत्वपूर्ण चीज़ है, लेकिन उसे अक्सर अनदेखा किया जाता है। कहा जाता है कि आपकी कार से जुड़ी सारी जानकारी होना किसी सोने से कम नहीं होता । क्या होगा अगर आपकी कार बीच जंगल में ख़राब हो  जाये और आपके फोन पर सिग्नल नहीं आ रहा | चाहे समस्या छोटी हो या बड़ी दोनों मामलों में, कार मैनुअल काफी उपयोगी पड़ता हैं । कार मैनुअल आपको बताता है कि पुर्जों की सही जगह कहा पर है; ताकि आपातकालीन स्थिति के दौरान आपको भ्रमित न होना पड़े। आप समस्या का पता लगा सकते हैं और कार मैनुअल की मदद से तुरंत ठीक कर सकते हैं। कार मैनुअल में कार की संपूर्ण सेवा अनुसूची , कार इंजन ऑयल, गियर ऑयल और ब्रेक ऑयल ग्रेड और मात्रा संबंधी महत्वपूर्ण जानकारी शामिल होती है । यह जानकारी आपको इंजन ऑयल घोटाले से बचा सकती है जो भारत में काफी सामान्य है। कार का मैनुअल आपको विभिन्न प्रकार के कार के पुर्जों और एक्सेसरीज की प्रारंभिक जानकारी बताता है उदाहरण के लिए बैटरी और हेडलाइट का नियंत्रण। यह आपको बताता है कि आपकी कार में हर बटन/घुंडी क्या काम करती है और हर गेज का क्या अर्थ है। हर कार अलग होती है। आपके पास कई कारें हो सकती हैं; लेकिन हर नई कार का मॉडल नयी तकनीकी के साथ आता है। कार  मैनुअल को कागज के कीमती टुकड़े की तरह मानें। कार  मैनुअल को पूरा पढ़ने में दो से तीन घंटे लग सकते हैं ।

Car big touchscreen infotainment System

कार फीचर्स से परिचित हों जाएँ

कार मैनुअल को पढ़ने के बाद अगला महत्वपूर्ण काम यह है कि हर फीचर की जांच करें और इस्तेमाल कर के देखें । जैसा कि पहले उल्लेख किया गया है, नई कार नई तकनीक के साथ आती है। नए फीचर और कंट्रोल्स से परिचित होने में समय लगता है । कभी कभी सामान्य चीज़ें जैसे की बोनट की जजमेंट और “A” पिलर के साइज का जजमेंट लेने में भी वक़्त लगता है। लक्ज़री कारों में कई पर्सनल सेटिंग्स होती हैं। नई कार की अक्सेलरेशन और ब्रैकिंग पावर को जानना भी काफी जरुरी होता है । जब आप ये सब चीज़ें अपनी कार के बारे में जानते है, तो ड्राइविंग अधिक आरामदायक और सुखद हो सकती है ।

Car convenience features

कार एक्सेसरीज़

हमेशा कार की सुरक्षा, यात्रियों की सुरक्षा और सहूलियत देने वाली  कार एक्सेसरीज़ पर निवेश करें| सजावटी एक्सेसरीज पर कम निवेश करें । अंडर शील्ड प्रोटेक्शन कवर, गियर लॉक, केबिन एसी फिल्टर, हेडलाइट अपग्रेड, रिमोट सेंट्रल लॉक, पार्किंग सेंसर, ऑटो डिमिंग आईआरवीएम, डैश कैम, टायर प्रेशर मॉनिटरिंग सिस्टम, मैट और मड फ्लैप जैसी कुछ बेहद जरुरी कार एक्सेसरीज हैं, अगर वे आपके द्वारा चुने हुए वैरिएंट में उपलब्ध नहीं है तो आप आफ्टर मार्किट लगा सकते हो । आफ्टरमार्केट कार एक्सेसरीज़ को फिट करते समय सावधान रहें, विशेष रूप से जिसमें इलेक्ट्रॉनिक वायरिंग को काटना पड़ें, जिससे कार की वारंटी ख़तम हो सकती है। कार पेंट सुरक्षा, एंटीरस्ट कोटिंग, ग्रिड लाइनों के बिना रियर व्यू कैमरा, हाई व्हील उपसाइज़िंग, पहियों का उच्च आकार जैसे  सामानों से बचें |

Car tyre replacement

जरुरत हो तो कार के टायर बदल दे

पिछले तीन-चार साल, ऑटोमोबाइल उद्योग में नई प्रवृत्तियों देखा गया है; जैसे कि है टायर अपसाइज़िंग। भारत में कार अपसाइज़िंग का प्राथमिक उद्देश्य टायरों की सरफेस एरिया को बढ़ाना और कार को माचो लुक देना । कार निर्माता अलग-अलग वेरिएंट के लिए अलग-अलग टायर साइज ऑफर करते हैं | अगर आप कोई बेस वैरिएंट खरीद रहे हैं तो टॉप स्पेक वैरिएंट में दिए जाने वाले टायर्स को अपसाइज़ करने की सलाह दी जाती है। कभी भी प्लस टू साइज टायरों को अपसाइज न करें यह कार की हैंडलिंग, आराम और कार के माइलेज को बर्बाद कर देगा इसके अलावा ओडोमीटर गलत रीडिंग दिखाएगा।

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